पश्चिम बंगाल के संदेशखाली की तीन महिलाओं में से एक ने टीएमसी नेता के खिलाफ रेप का केस वापस लिया है। उत्तर 24 परगना जिले के शाहजहां शेख पर आरोप था कि शेख ने कई महिलाओं का यौन उत्पीड़न किया है और उनकी जमीनों पर भी कब्जा किया है। मामले पर भाजपा ने टीएमसी की घेराबंदी की। इतना ही नहीं लोकसभा चुनाव में भी यह मुद्दा बना हुआ है। इस बीच एक महिला का यूटर्न लेना चौंकाने वाला है। महिला ने कहा कि मेरा यौन उत्पीड़न नहीं हुआ था।
रिपोर्ट के अनुसार महिला ने कहा कि मुझे से भाजपा के लोगों ने सादे कागज पर साइन करके पुलिस को शिकायत की थी। इतना ही नहीं शिकायत वापस लेने वाली महिला ने थाने में एक केस भी दर्ज कराया है। महिला ने आरोप लगाया है कि मुझे धमकियां मिल रही हैं और सामाजिक बहिष्कार की स्थिति है क्योंकि वे अपनी शिकायत वापस ले रही है। महिला ने आरोप लगाया कि भाजपा महिला मोर्चा की एक स्थानीय नेता और अन्य कुछ सदस्य उसके घर आए थे। इन लोगों ने मुझे से एक जगह साइन कराए थे और उसके बाद ही फर्जी शिकायत थाने में दी गई। महिला ने कहा, उन लोगों ने मेरे साइन लेकर कहा कि आपको पीएम आवास योजना का लाभ मिलेगा। इसके बाद वह मुझे पुलिस थाने ले गए और यौन उत्पीड़न का केस दर्ज कराया।
महिला ने शिकायत को गलत बताकर केस वापस ले लिया। महिला ने कहा, मेरे साथ टीएमसी के दफ्तर में कोई यौन उत्पीड़न नहीं हुआ था। मुझे पार्टी के दफ्तर में देर रात जाने के लिए भी बाध्य नहीं किया गया। वहीं इस मामले ने अब टीएमसी को भाजपा पर हमले का मौका दे दिया है। राज्य की महिला एवं बाल कल्याण मंत्री शशि पंजा ने कहा कि जो महिलाएं शिकायत वापस ले रही हैं, उन्हें अंजाम भुगतने की धमकी भाजपा वाले दे रहे हैं।